• प्रदेश के औद्योगिक विकास राज्यमंत्री से हुआ उद्यमियों का संवाद
  • आगरा के डेढ़ दर्जन औद्योगिक एवं सामाजिक संगठनों की रही सहभागिता  

प्रदेश के औद्योगिक विकास राज्यमंत्री धर्मवीर प्रजापति ने कहा है कि 60 साल में भी आगरा के औद्योगिक क्षेत्र का नहीं हुआ, जितना प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कार्यकाल में हुआ है। इस विकास से प्रदेश की आर्थिक समृद्धि हुई है।

प्रजापति गुरुवार को होटल भावना क्लार्क इन, सिकंदरा में आगरा फुटवियर मैन्युफैक्चरर्स एंड एक्सपोर्टर्स चैम्बर (एफमेक)  व कारपोरेट काउंसिल फार लीडरशिप एंड अवेयरनेस (सीसीएलए) द्वारा आयोजित उद्यमी संवाद कार्यक्रम व अभिनंदन समारोह में विचार व्यक्त कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि आगरा का उद्योग विश्वस्तरीय है। उस पर पूरे विश्व की निगाह रहती है। इसलिए प्रदेश सरकार का पूरा ध्यान यहां के उद्योगों पर रहता है। उनका पूरा प्रयास है कि आगरा का हर छोटा, बड़ा उद्योग विकसित हो। तेजी से संपन्नता आए। मंत्री ने अपने कार्यकाल में शीघ्र किसी ऐतिहासिक कार्य को कराने के लिए प्रतिबद्धता व्यक्त की।

कार्यक्रम का शुभारंभ आयोजन में विशिष्ट अतिथि उप्र. लघु उद्योग निगम के उपाध्यक्ष राकेश गर्ग, एससी एसटी आयोग के अध्यक्ष डॉ. राम बाबू हरित, एफमेक के अध्यक्ष पूरन डावर, उपाध्यक्ष गोपाल गुप्ता, डॉ. एमपीएस ग्रुप के चेयरमैन स्क्वाड्रन लीडर एके सिंह,  तपन ग्रुप के चेयरमैन सुरेश चंद्र गर्ग आदि ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्जवलित किया।
आयोजन की ख़ास बात ये रही कि इसमें आगरा के करीब डेढ़ दर्जन औद्योगिक संगठन और उनसे जुड़े सैंकड़ों उद्यमियों ने प्रदेश के औद्योगिक विकास राज्यमंत्री से आगरा के विकास को लेकर मंत्री के चर्चा की।

उद्योगों से जाता है देश के विकास का रास्ता
एफमेक के विजय निझावन, अजीत कल्सी, चंद्रशेखर जीपीआई, आगरा शू मैन्युफैक्चरर्स एसो. के अध्यक्ष ओपेंद्र सिंह लवली, वरिष्ठ उपाध्यक्ष जितेंद्र त्रिलोकानी,  मनोरम बजाज के राम मोहन कपूर, एकता बिल्डर्स के मुरारी प्रसाद अग्रवाल, शकुन बंसल एवं एनएमओ की अध्यक्षा डॉ.अभिलाषा प्रकाश ने आगरा के विकास को लेकर राज्यमंत्री को अपने सुझाव दिए। कहा उद्योगों से ही देश के विकास का रास्ता तय होता है।

अधिक औद्योगिक विकास के लिए रखी मांग
इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड एकाउंटेंट्स के पूर्व अध्यक्ष सीए शरद पालीवाल, टेक्स गुरु दीपक माहेश्वरी, अहिंसा ग्रुप के रोहित जैन, अरहम स्टील के मोहित जैन, आत्माराम समूह के अंशुल अग्रवाल एवं तनय अग्रवाल, पारले आइसक्रीम के निदेशक नीरज अग्रवाल, डॉ. अशोक शर्मा, विनीत बवानियां, सचिन सारस्वत ने आगरा के औद्योगिक संस्थानों को लेकर अपने बिचार ब्यक्त किये। वहीं अतिथियों का स्वागत सीसीएलए के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. सुरेंद्र सिंह भगौर, महासचिव अजय शर्मा, संयोजक ब्रजेश शर्मा, संयुक्त सचिव डॉ. आर.एन. शर्मा ने किया।

आगरा में 12 इकाइयां हैं जो प्रमुख और मध्यम उद्योगों के अंतर्गत आती हैं। लघु उद्योग श्रेणी में 7200 इकाइयां काम कर रही हैं, जो कपास और वस्त्र, लकड़ी के पेपर उत्पाद और स्टेशनरी, चमड़े के सामान और धातु उत्पाद, ऑटो और इंजन पार्ट्स, विद्युत सामान इत्यादि का उत्पादन करती हैं।  इन सबका विकास किया जा रहा है।
-राकेश गर्ग, उपाध्यक्ष, उप्र लघु उद्योग निगम लिमिटेड

आगरा का औद्योगिक विकास तेज गति से हो रहा है, उसके लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बधाई के पात्र हैं। वे बड़े ही नहीं, छोटे उद्यमियों की भी चिंता कर रहे हैं। उन्हें समृद्ध किया जा रहा है।
-डॉ. राम बाबू हरित, अध्यक्ष, एससी एसटी आयोग

आगरा शहर में प्रतिदिन जूते के 1.5 लाख जोड़े कुटीर, छोटे पैमाने और मध्यम पैमाने के जूते इकाइयों द्वारा बनाए जाते हैं। लगभग 60 संगठित जूता इकाइयों, 3000 छोटी निर्माण इकाइयों और लगभग 30000 घर में कारीगर इकाइयां हैं। आगरा में फुटवियर उद्योगों का समर्थन करने वाली बड़ी संख्या में अनुषंगी उद्योग हैं। जिन्हें प्रोत्साहन करने के लिए एकल विंडो सिस्टम लागू किये जाने की जरुरत है।
-पूरन डावर,अध्यक्ष एफमेक

बदलाव के लिए सोच की जरुरत होती है केंद्र और प्रदेश सरकार इस दिशा में आगे बढ़ रही हैं। मुझे लगता है आने वाला समय देश के विकास के लिए उद्योग जगत में एक नई ऊर्जा लेकर आएगा। प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास राज्यमंत्री धर्मवीर प्रजापति इस दिशा आगरा के लिए कुछ अच्छा करने की सोच रहे हैं ये अच्छे संकेत हैं।
–  स्क्वाड्रन लीडर एके सिंह, चेयरमैन, डॉ. एमपीएस ग्रुप

लगभग 20 छोटे पैमाने पर मशीनरी मैन्यूफैक्चरर्स और 100 विभिन्न प्रकार के फुटवियर घटक बनाती हैं। भारत में जूते की कुल घरेलू आवश्यकता का लगभग 65 फीसद आगरा से आपूर्ति की जाती है। यहां करीब 70 निर्यात इकाइयां हैं जिनमें दो सुनहरे कार्ड धारक और तीन रजत कार्ड धारक इकाइयां हैं।

Vishal Sharma
Vishal Sharma

Vishal is a technology enthusiast with journalistic leanings. He was one of the first bloggers in India, coming online in 1994, even before the internet was available on a widespread basis in India. Vishal is a cybersecurity consultant working as an independent contractor for Google. A journalist with a career spanning over 20 years, he has worked for several national English dailies including The Pioneer, Indian Express, Business Standard, and more. He has also worked for Indo-American Times, and India Monthly magazine, based in the United States of America. Besides being on the editorial board of Vijayupadhyay.com, he also publishes Indian Talent Magazine, an internationally acclaimed talent promotion publication. He has extensive experience in corporate branding, online publishing, and advertising. He started Vikirna Mediatek in 2018 with a vision to bring affordable technology solutions to the common masses of an India which is fast becoming Digital, walking on the path that was heralded by the late Prime Minister of India Rajiv Gandhi and forwarded by the current Prime Minister Narendra Modi.

By Vishal Sharma

Vishal is a technology enthusiast with journalistic leanings. He was one of the first bloggers in India, coming online in 1994, even before the internet was available on a widespread basis in India. Vishal is a cybersecurity consultant working as an independent contractor for Google. A journalist with a career spanning over 20 years, he has worked for several national English dailies including The Pioneer, Indian Express, Business Standard, and more. He has also worked for Indo-American Times, and India Monthly magazine, based in the United States of America. Besides being on the editorial board of Vijayupadhyay.com, he also publishes Indian Talent Magazine, an internationally acclaimed talent promotion publication. He has extensive experience in corporate branding, online publishing, and advertising. He started Vikirna Mediatek in 2018 with a vision to bring affordable technology solutions to the common masses of an India which is fast becoming Digital, walking on the path that was heralded by the late Prime Minister of India Rajiv Gandhi and forwarded by the current Prime Minister Narendra Modi.